ग्रेटर नोएडा जोन

दो टूक : प्राधिकरण ने बिल्‍डरों से कहा, एसटीपी नहीं तो लगेगा जुर्मान

Bluntly: Authority told builders, if not STP, then fine will be imposed

Panchayat24 : सोसाइटी के सीवर को शोधित करने के लिए एसटीपी (सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट) न बनाने व चलाने वाले बिल्डरों के खिलाफ ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण ने कड़ी कार्रवाई करने जा रहा है। प्राधिकरण ने बृहस्पतिवार को दो टूक कह दिया है कि एसटीपी नहीं बना है या फिर उसे ठीक से चलाया नहीं जा रहा है तो भारी-भरकम पेनल्टी लगाई जाएगी। बैठक में जीएम प्रोजेक्ट एके अरोड़ा, डीजीएम केआर वर्मा व वरिष्ठ प्रबंधक कपिल सिंह व सहायक प्रबंधक प्रभात शंकर आदि अधिकारी मौजूद रहे।

क्‍या है पूरा मामला ?

दरअसल, ग्रेटर नोएडा में 20 हजार वर्ग मीटर या उससे अधिक क्षेत्र पर बनने वाले सभी प्रोजेक्टों को अपना एसटीपी (सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट) बनाना और उसे चालू रखना अनिवार्य है। कई सोसाइटियों के निवासी प्राधिकरण से लगातार शिकायत कर रहे थे कि उनके यहां एसटीपी नहीं बने हैं। कुछ सोसाइटियों में एसटीपी बने हैं लेकिन चालू नहीं हैं। ऐसी सोसायटियों को सीवर विभाग ने नोटिस जारी किया था।

दरअसल, ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के एसीईओ अमनदीप डुली ने बृहस्पतिवार को ग्रेटर नोएडा के विभिन्न बिल्डरों व अपार्ट्रमेंट ऑनर्स एसोसिएशन के साथ बैठक की। एसीईओ ने कहा कि जिन बिल्डरों ने अपने रिहायशी प्रोजेक्ट में एसटीपी नहीं बनाए हैं, वह एसटीपी बनाकर शीघ्र चालू करें। जिन सोसाइटियों में बने हैं वे उनको नियमित रूप से संचालित करें। सीवर को शोधित करना अनिवार्य है। शोधित पानी को उद्यानीकरण में उपयोग करें। एनजीटीए की तरफ से भी इसके लिए सख्त आदेश दिए गए हैं।

ऐसा न करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। जिन सोसाइटियों में एसटीपी नहीं है या फिर बने हैं लेकिन काम नहीं कर रहे  हैं ,उनको पूर्व में नोटिस जारी की जा चुकी है। अब इन सोसाइटियों पर भारी-भरकम जुर्माना लगाया जाएगा। इसके बावजूद सुधार न हुआ तो एनजीटी के आदेशों के मद्देनजर विधिक कार्रवाई की जाएगी।

प्राधिकरण के सीईओ और मेरठ मण्‍डल के मण्‍डलायुक्‍त सुरेन्‍द्र सिंह ने कहा कि शहर को स्वच्छ रखना हम सबकी जिम्मेदारी है। इसे प्रदूषित करने की अनुमति किसी को नहीं दी जा सकती। जिन बिल्डर सोसाइटियों में एसटीपी नहीं बने हैं वे शीघ्र बनाकर उसे नियमित रूप से संचालित करें और जिन सोसाइटियों में बने हैं , लेकिन फंक्शनल नहीं है वे उनको तत्काल फंक्शनल करें। अन्यथा सख्त कार्रवाई की जाएगी।

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