तकनीक प्रयोग से अपराधियों को पहुंचाया जा रहा अंजाम तक, वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग और ई रिपोर्टिंग एप बने कारगर हथियार
Criminals are being brought to justice through the use of technology; video conferencing and e-reporting apps have become effective weapons

Panchayat 24 : उत्तर प्रदेश पुलिस का अभियोजन निदेशालय न्यायालय में प्रभावी पैरवी करके अभी तक 80 हजार से अधिक अपराधियों को उनके अपराधों की सजा दिलवा चुका है। इसके लिए तकनीक का प्रयोग काफी मददगार साबित हुआ है। दरअसल, अभियोजन विभाग ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग, ई-रिपोर्टिंग सिस्टम, चिन्हित माफिया प्रबंधन प्रणाली मॉनीटरिंग, ई-ऑफिस प्रणाली और ई-प्रॉसीक्यूशन पोर्टल आदि का का शानदार प्रयोग किया है। अपराधियों को कम समय में तेजी से उनके अपराध की सजा मिल रही है।
बीते 4 माह में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये 4,450 गवाहों की दर्ज कराई गवाही
अभियोजन विभाग भारतीय नागरिक संहिता-2023 के अन्तर्गत वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के द्वारा पुलिस के अधिकारियों, कर्मचारियों एवं अन्य सरकारी कर्मचारियों के बयान उनके निवास-नियुक्ति स्थान पर ही दर्ज करा रहा है। इससे जहां एक ओर प्रशासनिक एवं पुलिस व्यवस्था सुव्यवस्थित हुई है, वहीं दूसरी ओर राजकीय धन और समय की बचत हो रही है। विभाग द्वारा वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से 17 अक्टूबर तक 4,450 पुलिस और अन्य सरकारी गवाहों की गवाही करायी जा चुकी है। इससे मात्र 4 माह में 5 जिलों के प्रयास से 15 लाख रुपये की बचत की गयी है। वहीं, वार्षिक बचत 7 करोड़ होने का अनुमान है। इतना ही नहीं, इससे अपराधियों को सजा दिलाने की प्रक्रिया और तेज़ हुई है और गवाहों की सुरक्षा भी सुनिश्चित हो रही है।
ई-रिपोर्टिंग सिस्टम ऐप से अपराधियों के खिलाफ एकत्र किये जा रहे मजबूत साक्ष्य
अभियोजन विभाग ने डाटा एनालिटिक्स का प्रयोग कर ई-रिपोर्टिंग सिस्टम के द्वारा अपराधियों के खिलाफ मजबूत साक्ष्य एकत्र किये। प्रत्येक केस का डाटा प्रोफाइल बनाकर उसे कंप्यूटर सिस्टम में रिकॉर्ड किया जा रहा है। इससे केस में किसी भी तरह की गड़बड़ी या अस्पष्टता को दूर किया जा रहा है। इतना ही नहीं ऐप के जरिये अभियोजन संबंधी कार्यों की समीक्षा भी आसान हुई है। इको मुख्यमंत्री डैशैबोर्ड (दर्पण 2.0) से कनेक्ट किया गया है। इसके द्वारा विभिन्न मामलों में उच्च स्तरीय समीक्षा आसान हो सकी है।
वादों की प्रगति की गहन मॉनिटरिंग में चिन्हित माफिया प्रबंधन ऐप का अहम रोल
निदेशालय स्तर पर चिन्हित माफिया प्रबंधन प्रणाली मॉनीटरिंग ऐप के द्वारा चिन्हित माफिया से संबंधित वादों की दिन प्रतिदिन की प्रगति और कार्यवाही का गहन पर्यवेक्षण किया जा रहा है। निदेशालय ने ई-आफिस प्रणाली के जरिये पेपरलेस और समयबद्ध कार्यवाही को शत-प्रतिशत अपनाया है। इसके साथ ही प्रथम चरण में ई-आफिस प्रणाली को 18 परिक्षेत्रीय अपर निदेशक अभियोजन कार्यालय एवं 18 संयुक्त निदेशक अभियोजन कार्यालयों को अगामी 3 माह में जोड़े जाने का लक्ष्य रखा गया है।
ई-प्रॉसीक्यूशन पोर्टल पर डाटा फीडिंग में यूपी तीन साल से देश में आगे
निदेशालय ई-प्रॉसीक्यूशन पोर्टल के जरिये लगातार न्यायिक कार्यवाहियों से संबंधित डाटा फीड कर रहा है। अब तक ई-प्रॉसीक्यूशन पोर्टल पर सितंबर-24 तक 75 लाख से अधिक न्यायिक कार्यवाहियों से संबंधित डाटा फीड किया जा चुका है। वहीं ई-प्रॉसीक्यूशन पोर्टल की फीडिंग में उत्तर प्रदेश पूरे देश में लगातार पिछले 3 वर्षों 2021, 2022 व 2023 से प्रथम स्थान प्राप्त कर रहा है। अपराधियों को प्रभावी पैरवी के जरिये सजा दिलाने के लिए अधिकारियों और कर्मचारियों को विशेष प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इसमें उन्हें नए तकनीकी उपकरणों और सॉफ़्टवेयर के उपयोग के बारे में बताया जा रहा है। इससे अभियोजन अधिकारियों की क्षमता में वृद्धि हो रही है और वह अपनी जिम्मेदारियों को अधिक सटीक व प्रभावी तरीके से निभा रहे हैं।